तुलसी साहिब के प्रस्तुत पुस्तक के विषय में कुछ कहना सूर्य हो दीपक दिखाने के समान है। पाठक पुस्तक में बिरह और प्रेम के शब्दों का मनन करेंगे तब उन्हें स्वमेव पुस्तक की महानता के विषय में समझ आ जायेगा।