पलटू साहिब की बानी दूसरा भाग में आपको साहिब की प्रचंड महिमा और कीर्ति, इनके चुने हुए अति मनोहर रेखता, झूलने, अरिल छन्द, कवित्त और सवैया आदि के पढ़ने से स्पष्ट हो जाता है। पलटू साहिब के उपदेश चितावनी, ककहरा, मान, कनक कामिनी आदि अनेकों शीर्षक से पुस्तक पूर्णतया सजी है तथा कठिन शब्दों को नीचे लिख दिया गया है ताकि पाठकगण को किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े।